शब्दम् बालिका-महिला पाठशाला

वह बालिका या महिला जो किसी अभाव के कारण शिक्षा की मुख्यधारा से नहीं जुड़ पायीं हैं] उन्हें साक्षर बनाने के लिए ‘शब्दम्’संस्था ‘बालिका-महिला पाठशाला’ चलाती है। ‘बालिका-महिला पाठशाला’ का मुख्य उद्देश्य निरक्षर महिलाओं] बालिकाओं को हिन्दी व गणित का सामान्य ज्ञान देना है, ताकि इस सामान्य ज्ञान के माध्यम से वे अपनी रोजमर्रा की जिंदगी को और अच्छा बना सकें ।

आज भी भारत के 24 प्रतिशत लोग निरक्षर हैं] जिसमें से अधिकांश महिलाएँ हैं। ‘बालिका-महिला पाठशाला’के द्वारा शब्दम् इन निरक्षर महिलाओं को शिक्षा की धारा से जोड़ने का प्रयास कर रही है। इस दिशा में शब्दम् के कुछ भिन्न प्रकार के अनुभव भी रहे हैं। जैसे- शिक्षा की अपेक्षा यह महिलाएँ खेती/शादी/मेले आदि में जाना ज्यादा पसंद करती हैं] कभी&कभी ग्रामजनों के मन में यह भी भा्रन्ति आती है कि संस्था उनके नाम पर सरकार से कोई लाभ ले रही है। इन सब अनुभवों के साथ] शब्दम् की पूरी इच्छा है कि शिक्षा की धारा से छूटे हुए सभी महिलाओं को हम ‘बालिका-महिला पाठशाला’से जोड़ सकें।

वर्तमान में हिन्द लैम्पस् परिसर में हमने ‘बालिका&महिला पाठशाला’का नया केन्द्र खोला है। एक नए प्रयोग के तहत इस बालिका महिला पाठशाला में 10 वर्ष से कम उम्र के छात्र व किसी भी उम्र की महिलाओं को प्रवेश दिया जा रहा है।

यदि इस संदर्भ में आप लोगों के पास कोई भी सुझाव या विचार हो तो कृपया ‘शब्दम्’ संस्था को मेल/बेवसाइट/व्यक्तिगत/फोन द्वारा सूचित करें।

बलिका-महिला पाठशाला में शिक्षा प्राप्त करते छात्र/छात्राएं।

छात्रों को अंक ज्ञान देती हुयी ‘शब्दम्’प्रशिक्षिका।

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